गजल

मंजिलों से जुदा हो गए रास्ते जब खफा हो गए   नर्म हो कर झुके जब कभी लोग सारे ख़ुदा…

गजल

1 गुमसुम लम्हें  सन्नाटे गहरे जाएं तो जाएं कहाँ उस पर बैठे यादों के पहरे जाएं तो जाएं कहाँ  …